देहरादून। उत्तराखंड विद्वत् सभा द्वारा शहीद स्थल कचहरी परिसर में आयोजित तर्पण श्रद्धांजलि कार्यक्रम में बड़ी संख्या में गणमान्य लोग उपस्थित रहे। यह कार्यक्रम विगत वर्षों की तरह इस साल भी अत्यंत भावुकता और सम्मान के साथ मनाया गया, जिसमें देश की आजादी के लिए अपने प्राणों की आहुति देने वाले स्वतंत्रता सेनानियों, उत्तराखंड राज्य निर्माण आंदोलन के दौरान शहीद हुए आंदोलनकारियों, केदारनाथ आपदा, कोरोना महामारी, और डेंगू जैसी आपदाओं में जान गंवाने वाले लोगों को याद किया गया और उनकी आत्माओं की शांति के लिए तर्पण विधि से श्रद्धांजलि अर्पित की गई।
कार्यक्रम की अध्यक्षता सभा के सभाध्यक्ष आचार्य विजेंद्र प्रसाद ममगांई ने की, जिन्होंने दीप प्रज्ज्वलित कर इस कार्यक्रम का शुभारंभ किया। उन्होंने सभी दिवंगत आत्माओं के प्रति श्रद्धा व्यक्त करते हुए कहा कि हमारा कर्तव्य है कि हम उनके द्वारा दिए गए योगदान और बलिदान को सदा स्मरण करें। सभा के अन्य प्रमुख सदस्यों ने भी अपने विचार व्यक्त किए और दिवंगत आत्माओं को श्रद्धांजलि दी।
इस महत्वपूर्ण अवसर पर उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारी और प्रदेश अध्यक्ष श्री जगमोहन नेगी, प्रदेश प्रवक्ता प्रदीप कुकरेती, भारतीय नेपाली ब्राह्मण सभा के अध्यक्ष रामप्रसाद उपाध्याय, महासंघ के सचिव शशि शर्मा, अखिल गढ़वाल सभा के अध्यक्ष रोशन धस्माना, संरक्षक पवन शर्मा, देवी प्रसाद ममगांई, मंच के महासचिव दिनेश भट्ट, रेड क्रॉस संस्था के मोहन सिंह खत्री, मसूरी से आंदोलनकारी देवी गोदियाल, उपाध्यक्ष सत्य प्रसाद सेमवाल, प्रवक्ता मुकेश पंत, मुरली मनोहर सेमवाल, सलाहकार राजेश अमोली, कोषाध्यक्ष अजय डबराल, और उमेश भट्ट सहित कई अन्य गणमान्य लोग उपस्थित थे।
तर्पण विधि के माध्यम से सभी दिवंगत आत्माओं की शांति के लिए विशेष प्रार्थना की गई, जिसमें सभा के सभी सदस्यों और उपस्थित लोगों ने भाग लिया। इस कार्यक्रम के संचालन की जिम्मेदारी सभा के महासचिव दिनेश भट्ट ने संभाली, जिन्होंने सभा की भावनाओं को बड़ी सजीवता के साथ व्यक्त किया।