देहरादून। विश्व आयुर्वेद कांग्रेस एवं आरोग्य एक्सपो 2024 के दसवें संस्करण में उत्तराखंड की राजधानी देहरादून ने एक ऐतिहासिक उपलब्धि दर्ज की है। इस आयोजन में 12 हजार डेलीगेट्स का पंजीकरण हुआ, जो इस विश्व स्तरीय कार्यक्रम के इतिहास में अब तक की सबसे बड़ी संख्या है।
इस अंतरराष्ट्रीय आयोजन में 54 देशों के 300 विदेशी प्रतिनिधियों ने भागीदारी कर आयुष के प्रति अपनी गहरी रुचि और समर्थन को व्यक्त किया। आयुष भूमि उत्तराखंड के प्राकृतिक और सांस्कृतिक आकर्षण ने देश-विदेश के डेलीगेट्स को अपनी ओर खींचा।
पिछले वर्ष गोवा में आयोजित कार्यक्रम में 5102 डेलीगेट्स शामिल हुए थे, जबकि इस बार देहरादून ने उस रिकॉर्ड को पार करते हुए नई ऊंचाइयों को छू लिया। कार्यक्रम के दौरान आयुष के विकास और नई संभावनाओं पर व्यापक चर्चा की गई।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस उपलब्धि पर प्रसन्नता जताते हुए कहा, “उत्तराखंड देश-विदेश से आए डेलीगेट्स के प्रति आभारी है। यह आयोजन आयुष के विकास के लिए मील का पत्थर साबित होगा और इसके दूरगामी परिणाम होंगे।”
विश्व आयुर्वेद कांग्रेस एवं आरोग्य एक्सपो 2024 में कुल 12 हजार डेलीगेट्स का पंजीकरण हुआ। यह संख्या इस आयोजन के इतिहास में अब तक की सबसे बड़ी है। देहरादून ने इस रिकॉर्ड को स्थापित करते हुए आयोजन को ऐतिहासिक बना दिया।
कार्यक्रम में 54 देशों के 300 विदेशी प्रतिनिधियों ने भाग लिया। अंतरराष्ट्रीय भागीदारी ने आयुष के प्रति वैश्विक रुचि और समर्थन को और अधिक मजबूत किया है। इससे आयुर्वेद को एक वैश्विक मंच पर पहुंचाने की दिशा में सकारात्मक कदम बढ़े हैं।
आयोजन में आयुष के विकास और नई संभावनाओं पर व्यापक चर्चा की गई। इस दौरान आयुर्वेद के प्रचार-प्रसार और इसके आधुनिक चिकित्सा पद्धतियों के साथ तालमेल पर विचार किया गया।
देहरादून ने पिछले वर्ष गोवा में हुए आयोजन का रिकॉर्ड तोड़ दिया, जहां 5102 डेलीगेट्स शामिल हुए थे। इस बार देहरादून ने 12 हजार पंजीकरण के साथ नया कीर्तिमान रच दिया।
उत्तराखंड की आयुष भूमि के रूप में पहचान और प्राकृतिक संपदा ने देश-विदेश के डेलीगेट्स को आकर्षित किया। इस आयोजन ने उत्तराखंड को वैश्विक आयुष केंद्र के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की है।